पीएफ और पेंशन खाताधारकों के लिए EPFO ने किए ये 5 बड़े बदलाव, काम हुए बेहद आसान

नई दिल्ली. कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) ने वर्ष 2025 में अपने करोड़ों सदस्यों के लिए कई बड़े और महत्वपूर्ण बदलाव लागू किए हैं। इन बदलावों का मुख्य उद्देश्य पीएफ से जुड़ी प्रक्रियाओं को अधिक आसान, डिजिटल और पारदर्शी बनाना है। ये परिवर्तन न केवल कर्मचारियों के लिए सुविधाएँ बढ़ाएंगे, बल्कि उनकी भविष्य निधि बचत और पेंशन से जुड़े मामलों पर भी सीधा असर डालेंगे। 

ये हैं पाँच प्रमुख बदलाव

1. प्रोफाइल अपडेट करना हुआ आसान

ईपीएफओ में अब अपनी व्यक्तिगत जानकारी अपडेट करना बेहद सरल हो गया है। अगर आपका यूनिवर्सल अकाउंट नंबर (यूएएन) आधार से लिंक है, तो आप अपने नाम, जन्मतिथि, लिंग, राष्ट्रीयता, माता-पिता का नाम, वैवाहिक स्थिति, पति/पत्नी का नाम और नौकरी शुरू करने की तारीख जैसी जानकारी ऑनलाइन बिना किसी दस्तावेज के अपडेट कर सकते हैं। हालांकि, जिनका यूएएन 1 अक्टूबर 2017 से पहले बना था, उन्हें कुछ मामलों में कंपनी की मंजूरी लेनी पड़ सकती है। यह बदलाव कर्मचारियों को समय और मेहनत बचाने में मदद करेगा।

2. पीएफ ट्रांसफर की प्रक्रिया बनी तेज

नौकरी बदलने पर भविष्य निधि (पीएफ) ट्रांसफर करना पहले एक जटिल और समय लेने वाली प्रक्रिया थी, जिसमें कंपनी की मंजूरी जरूरी होती थी। लेकिन 15 जनवरी 2025 से ईपीएफओ ने इसे काफी तेज कर दिया है। अब ज्यादातर मामलों में पुरानी या नई कंपनी की अप्रूवल की जरूरत नहीं होगी। अगर आपका यूएएन आधार से लिंक्ड है और विवरण (जैसे नाम, जन्मतिथि, लिंग) मेल खाते हैं, तो पीएफ ट्रांसफर बहुत तेजी से हो जाएगा। इससे आपकी बचत का प्रबंधन और निरंतरता बनी रहेगी।

3. सेंट्रलाइज्ड पेंशन पेमेंट सिस्टम 

1 जनवरी 2025 से ईपीएफओ ने सेंट्रलाइज्ड पेंशन पेमेंट सिस्टम लागू किया है। इसके तहत, पेंशन सीधे किसी भी बैंक खाते में ईपीएफओ प्लेटफॉर्म के माध्यम से भेजी जाएगी। पहले पेंशन पेमेंट के लिए पेंशन पेमेंट ऑर्डर (पीपीओ) को एक क्षेत्रीय कार्यालय से दूसरे में ट्रांसफर करना पड़ता था, जिससे देरी होती थी। अब यह प्रक्रिया समाप्त हो गई है। साथ ही, नए पीपीओ को यूएएन से जोडऩा अब अनिवार्य होगा, जिससे पेंशनधारक डिजिटल लाइफ सर्टिफिकेट आसानी से जमा कर सकेंगे।

4. उच्च सैलरी पर पेंशन का स्पष्ट नियम

ईपीएफओ ने उन कर्मचारियों के लिए पेंशन नियमों को स्पष्ट किया है जो अपनी निर्धारित सीमा से अधिक सैलरी के आधार पर पेंशन लेना चाहते हैं। अब सभी के लिए एक समान प्रक्रिया अपनाई जाएगी। अगर कर्मचारी की सैलरी निर्धारित सीमा से ज्यादा है और वे अतिरिक्त अंशदान देते हैं, तो वे उच्च सैलरी पर पेंशन का विकल्प चुन सकते हैं। निजी ट्रस्ट चलाने वाली कंपनियों को भी ईपीएफओ के नियमों का पालन करना होगा। यह नियम उच्च पेंशन प्राप्त करने में सहायक होगा।

5. जॉइंट डिक्लेरेशन प्रक्रिया हुई सरल

16 जनवरी 2025 को ईपीएफओ ने जॉइंट डिक्लेरेशन प्रक्रिया को सरल बनाने के लिए नए दिशानिर्देश जारी किए। इसके तहत, गलत या अधूरी जानकारी को ठीक करना आसान होगा, जिससे दावों की प्रक्रिया अधिक तेज और पारदर्शी बनेगी।

Post a Comment

Previous Post Next Post