नई दिल्ली. यूपीएस यानी यूनिफाइड पेंशन स्कीम में अप्लाई करने की आखिरी तारीख को बढ़ा दिया गया है. अब केंद्रीय सरकारी कर्मचारी 30 सितंबर तक इसमें अप्लाई कर सकेंगे. अभी तक इसमें आवेदन करने की तारीख 30 जून थी, जिसे 3 महीने बढ़ा दिया गया है.
केंद्र सरकार की नई पेशन योजना एकीकृत पेंशन योजना (यूपीएस) अपनाने को लेकर कर्मचारियों में उत्साह नजर नहीं आ रहा। एकीकृत पेंशन योजना का विकल्प देने की आखिरी तिथि 30 जून है। यानी 15 दिन शेष बचे हैं। हालत यह है कि अभी तक केंद्र सरकार में लगभग 30 लाख एनपीएस कर्मियों में से महज पचास हजार कर्मचारियों ने भी यूपीएस में शामिल होने का विकल्प नहीं दिया। ऐसे में कर्मचारियों का कहना है कि सरकार, कम से कम तीन माह के लिए यूपीएस में शामिल होने का विकल्प देने की अवधि को आगे बढ़ा सकती है। इसके साथ ही केंद्र सरकार, अपने कर्मचारियों को यूपीएस के फायदों से अवगत कराने और एनपीएस व यूपीएस को लेकर उनके सवालों का जवाब देने के लिए ट्रेनिंग का कोई नया मेकेनिज्म तैयार करने पर विचार कर रही है। कुछ विभागों में कर्मचारियों को यूपीएस के बारे में बताया जा रहा है। कर्मचारी संगठनों के पदाधिकारियों का कहना है कि फिलहाल यूपीएस के प्रति, कर्मियों की बेरुखी को देखते हुए सरकार, इसके प्रावधानों में कोई बदलाव भी कर सकती है।
इसलिए तीन माह तक तिथि आगे बढ़ानी पड़ी
नेशनल मिशन फॉर ओल्ड पेंशन स्कीम भारत के अध्यक्ष डॉ. मंजीत सिंह पटेल कहते हैं, यूपीएस के प्रति दो-तीन फीसदी, सरकारी कर्मियों का भी रूझान नहीं है। विभिन्न मंत्रालयों और विभागों में यूपीएस की सही से ट्रेनिंग देने वाले ट्रेनर का अभाव है। ओपीएस बहाली या यूपीएस में बदलाव, अपनी इस मांग को लेकर कई राज्यों का दौरा कर चुके पटेल बताते हैं, पीओ और डीडीओ को ट्रेनिंग तक नहीं दी गई है। अनेक अधिकारी ऐसे हैं, जिनके पास कर्मियों के सवालों का जवाब नहीं होता। जो कर्मचारी रिटायर हो चुके हैं, अब उनके खाते बंद हो गए हैं। ऐसे में वे ऑनलाइन यूपीएस में कैसे स्विच करेंगे। इस प्रक्रिया में कई सारी दिक्कतें हैं। आईटी विभाग को ऑनलाइन ट्रेनिंग पर फोकस करना चाहिए। इसलिए सरकार को तीन माह तक तिथि आगे बढ़ानी पड़ रही है.
यूपीएस पर कर्मचारियों का रूझान बहुत फीका
स्टाफ साइड की राष्ट्रीय परिषद (जेसीएम) के सदस्य और अखिल भारतीय रक्षा कर्मचारी महासंघ (एआईडीईएफ) के महासचिव सी.श्रीकुमार ने कहा, यूपीएस को लेकर केंद्र सरकार के कर्मचारियों का रूझान बहुत फीका है। कर्मचारी, यूपीएस में शामिल नहीं होना चाहते। अभी तक महज दो तीन फीसदी एनपीएस कर्मचारी भी यूपीएस में नहीं आ रहे। इसकी आखिरी तारीख 30 जून है। केंद्र सरकार ने केल्कुलेटर भी जारी किया है। केंद्र सरकार के कर्मचारी, एनपीएस और यूपीएस के झंझट में नहीं पडऩा चाहते। उनकी एक ही मांग है, पुरानी पेंशन बहाली। ओपीएस बहाली को लेकर दोबारा से कर्मचारी संगठन, लामबंद होने की तैयारी कर रहे हैं। सरकार ने एनपीएस कर्मियों को 30 जून तक यूपीएस में शामिल होने का विकल्प दिया है। राष्ट्रीय पेंशन प्रणाली (एनपीएस) के तहत 20 मई को एकीकृत पेंशन योजना (यूपीएस) कैलकुलेटर लॉन्च किया गया था। इसका मकसद, केंद्र सरकार के कर्मचारियों को वह सुविधा मुहैया करानी है, जिसके द्वारा वे एनपीएस और नई स्कीम यूपीएस दोनों के तहत मिलने वाले पेंशन लाभों की तुलना कर सकते हैं। इसके बावजूद कर्मचारी, मन नहीं बना पा रहे।