रादुविवि के देवेंद्र छात्रावास की दुर्दशा चरम पर, पीने का पानी, सफाई का भी अभाव,अधिकारी दे रहे आश्वासन
जबलपुर। रानी दुर्गावती विश्वविद्यालय के देवेंद्र हॉस्टल की दुर्दशा अब चरम पर पहुंच गयी है। इस जर्जर भवन में रहकर भविष्य संवरे या न संवरे,लेकिन किसी दिन हादसे का सामना जरूर हो सकता है। पन्ना, मंडला, डिंडोरी जैसे दूर-दराज के क्षेत्रों से उच्च शिक्षा का सपना लेकर आए छात्रों को यहां मूलभूत सुविधाओं से भी वंचित रहना पड़ रहा है। हॉस्टल की बदहाली का आलम यह है कि छात्रों को बिजली, पीने के पानी, पंखे और साफ-सफाई जैसी अति आवश्यक चीजों के लिए भी जूझना पड़ रहा है। लोग ये तय नहीं कर पा रहे हैं कि आखिर कौन ज्यादा जर्जर है, विवि का प्रबंधन या फिर छात्रावास।
-पीने का पानी तक नहीं
हॉस्टल में रह रहे विद्यार्थियों ने बताया कि जर्जर बिल्डिंग के अंदर न तो लाइट की व्यवस्था है और न ही पीने के पानी की। गर्मी में छात्रों को सोने के लिए पंखा तक नहीं मिल रहा है, क्योंकि पंखे या तो खराब हैं या चलते ही नहीं। छात्र हर्ष ने बताया कि, हॉस्टल तो मिल गया मगर इसमें रहने में डर लगता है। न पानी, न खाना, न सफाई कोई सुविधा नहीं है।
-सफाई के इंतजाम ‘ार्मनाक
हॉस्टल की स्थिति इतनी खराब है कि कमरों की कंडीशन बहुत खराब है और चारों तरफ गंदगी का अंबार लगा हुआ है, जिससे मच्छरों का आतंक बढ़ गया है। छात्रों के लिए सबसे बड़ी समस्या साफ-सफाई और टॉयलेट की बदहाली है, जिनकी महीनों से सफाई नहीं की गई है। पीने के पानी के लिए लगा वाटर कूलर भी बीते 6 महीने से बंद पड़ा है। छात्रों का कहना है कि वे जब भी इसकी शिकायत करने जाते हैं, तो केवल यही कहा जाता है कि ष्बन जाएगा,ष् मगर आज तक कोई सुधार नहीं हुआ।
-अफसर बोले, जल्दी सुधार होगा
रानी दुर्गावती विश्वविद्यालय के रजिस्ट्रार डी.के. बघेल ने जल्द सुधार का भरोसा दिया है। उन्होंने बताया कि पीएम उषा योजना के तहत हॉस्टल का इनॉग्रेशन होना है और इसके लिए भूमिपूजन हो चुका है। रजिस्ट्रार ने छात्रों को आश्वस्त किया है कि जल्द ही हॉस्टल के जीर्णोद्धार का काम चालू हो जाएगा। हालांकि, छात्रों का कहना है कि उन्हें केवल आश्वासनों पर नहीं, बल्कि तत्काल सुविधाओं पर भरोसा है, ताकि वे सुरक्षित और स्वच्छ माहौल में अपनी पढ़ाई पूरी कर सकें।
