मुंबई. कुर्ला स्थित लोकमान्य तिलक टर्मिनस (एलटीटी) पर शनिवार 23 अगस्त को यात्रियों और रेलवे पुलिस के होश उस वक्त उड़ गए जब गोरखपुर से आने वाली कुशीनगर एक्सप्रेस के एसी कोच के टॉयलेट डस्टबिन में 7 साल के मासूम का शव बरामद हुआ. जैसे ही इस खौफनाक राज से पर्दा उठा, स्टेशन पर अफरा-तफरी मच गई. जीआरपी ने तुरंत कोच को खाली कराया और क्राइम ब्रांच की टीम को भी जांच में शामिल कर लिया गया.
शुरुआती जांच में सामने आया है कि बच्चे की हत्या कर उसके शव को ट्रेन के टॉयलेट में ठिकाने लगाया गया. पुलिस की जांच में अब तक जो जानकारी सामने आई है उसके मुताबिक मृतक का परिवार सूरत में रहता है. आरोपी रिश्तेदार ही निकला, जिसने पहले सूरत से अगवा किया और फिर नासिक पहुंचा. वहां से दोनों ने कुशीनगर एक्सप्रेस पकड़ी और सफर के दौरान ही मासूम की हत्या कर दी गई.
टॉयलेट में डस्टबिन बना सबूत, सीसीटीवी खंगाल रही पुलिस
जांचकर्ताओं का मानना है कि आरोपी ने शव को छिपाने के लिए एसी कोच के टॉयलेट के डस्टबिन का इस्तेमाल किया. यह दृश्य इतना भयावह था कि पुलिसकर्मियों तक के रोंगटे खड़े हो गए. जीआरपी अब सीसीटीवी फुटेज खंगाल रही है ताकि यह पता चल सके कि आरोपी ने ट्रेन में कहां और कैसे वारदात को अंजाम दिया.
कितनी थी उम्र
बता दें, बच्ची का शव कुशीनगर एक्सप्रेस ट्रेन संख्या 22537 के एसी कोच बी2 के बाथरूम में कूड़ेदान में मिला है। बच्चे की उम्र करीब 7-8 साल बताई गई है। जैसे ही लोगों ने शव देखा तो पुलिस-प्रशासन को इसकी सूचना दी।
मौसेरे भाई ने किया था अपहरण
पुलिस ने इस घटना को गंभीरता से लेते हुए तुरंत जांच शुरू कर दी है। शुरुआती सुरागों से यह पता चला है कि बच्ची का मौसेरा भाई इस अपहरण में शामिल था। पुलिस ने घटनास्थल पर संबंधित लोगों के बयान दर्ज कर मामले की जांच शुरू कर दी है। पुलिस ने कहा कि अपहरण और हत्या दोनों पहलुओं पर पूरी जांच की जा रही है।