थाना में उल्टा लटकाकर गुप्तांग में डाली मिर्ची, लाठी-बेल्ट से पीटा, 4 युवकों ने पुलिस पर लगाए आरोप, धरने पर बैठे

छतरपुर। छतरपुर के नौगांव में चार युवकों ने पुलिस पर आरोप लगाते हुए कहा कि उन्हे चार दिन थाना में उल्टा लटककाकर लाठी व बेल्ट से बुरी तरह पीटा गया है। यहां तक कि गुप्तांग में लाल मिर्च तक डाल दी गई। मामले को लेकर पीडि़त युवक व भीम आर्मी के कार्यकर्ता बीती शाम एसपी आफिस पहुंच गए और धरना देकर प्रदर्शन शुरु क र दिया। पीडि़तों का कहना था कि जब तक पुलिस कर्मियों के खिलाफ कार्यवाही नहीं की जाएगी वे  बैठे रहेगें।                                                                           

                                              पीडि़त युवकों का कहना था कि वे कंजडपुर धरमपुरा के रहने वाले हैं और झाड़ू बनाकर बेचने का काम करते हैं। चार दिन पहले वे नौगांव डिसलेरी रोड पर एक नए मकान के उद्घाटन कार्यक्रम में शामिल होकर अपने घर के लिए रवाना हुए। लौटते वक्त सड़क किनारे पेशाब कर रहे थे, तभी डायल-100 पुलिस की गाड़ी आई और बिठाकर थाना लेकर आ गए। यहां पर एक युवका को विकलांग होने के कारण छोड़ दिया गया। इसके चारों युवकों को चारों युवकों को थाने में उल्टा लटकाकर बेल्ट और लात-घूंसों से पीटा गया। चोरी कबूल कराने के लिए उनके गुप्तांग में मिर्च डाली गई। पुलिस द्वारा 4 चार दिन तक बुलाकर प्रताडि़त किया गया। युवकों के साथ मारपीट किए जाने की खबर मिलते ही भीम आर्मी ने पीडि़त परिजन के साथ बस स्टैंड से एसपी ऑफिस तक मार्च निकाला और धरने पर बैठ गए। प्रदर्शनकारियों ने आरोपी पुलिसकर्मियों पर एससी.एसटी एक्ट में मामला दर्ज कर उन्हें सस्पेंड करने की मांग की है। पीडि़त पक्ष ने यह भी आरोप लगाया कि उनके साथ पकड़ा गया एक युवक अब तक नहीं मिला है। उन्होंने उसकी हत्या की आशंका जताई है। धरना व प्रदर्शन की खबर मिलते ही डीआईजी ललित शाक्यवार धरनास्थल पर पहुंचे और पीडि़तों को मेडिकल परीक्षण कराने व जांच के बाद कार्यवाही का आश्वासन दिया। 

धरना-प्रदर्शन के दौरान परिसर की लाइट बंद की गई-

खबर है कि धरना व प्रदर्शन के दौरान एसपी आफिस के गेट बंद कर परिसर की लाइट बंद कर दी गई थी। इसके बाद भी भीम आर्मी के कार्यकर्ता, महिलाएं व बच्चे अंधेरे में ही धरने पर बैठे रहे। इस दौरान पुलिस अधिकारी बल सहित मौके पर उपस्थित रहे।

पीडि़त के रिश्तेदार को धमकाने का भी आरोप- 

एक पीडि़त ने यह भी आरोप लगाए कि वह नौगांव में घर पर बच्चों को भोजन देने जा रहा था, इस दौरार ईशा नगर चौराहा पर दोनों लोगों ने रोककर पुलिस अधिकारी को फोन करके बुला लिया। पुलिस अधिकारी बल सहित पहुंचे और धरने के संबंध में पूछताछ कर बेटी व दामाद को धरना स्थल से उठाकर ले जाने की धमकी दी गई। 


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